इस्लामिक सहयोग संगठन की बैठक में पाकिस्तान का बेसुरा राग

कश्मीर और फिलिस्तीन पर मुस्लिम देशों के रूख को लेकर जताई नाराजगी, कहा– हमारी कोई सुनवाई नहीं करता

इस्लामिक सहयोग संगठन की बैठक में पाकिस्तान की ओर से एक बार फिर कश्मीर का मुद्दा उठाया गया। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने कहा कि हम सिर्फ कश्मीर और फिलिस्तीन के लोगों और मानवाधिकारों की बात कर रहे हैं। लेकिन हमारी कोई सुनवाई नहीं करता। हालांकि हमारी आबादी 150 करोड़ की है, लेकिन कोई भी हमारी आवाज नहीं सुनता है। इमरान खान ने इस दौरान कश्मीर मुद्दे को लेकर मुस्लिम देशों के रुख को लेकर भी नाराजगी जताई। 

पाकिस्तान में आयोजित इस्लामिक सहयोग संगठन की बैठक को संबोधित करते हुए इमरान खान ने कहा कि भारत ने कश्मीर से धारा-370 हटा दी है, जिसके बाद कश्मीर का विशेष दर्जा खत्म हो गया है। क्योंकि भारत को हमारी तरफ से कोई दबाव नहीं महसूस हुआ। उन्होंने कश्मीर के साथ फिलीस्तीन को लेकर भी अफसोस ज़ाहिर किया और कहा कि मुझे दुख है कि हम कश्मीरियों और फिलीस्तीनियों के लिए कुछ नहीं कर पाए। 

बैठक के दौरान इमरान खान ने ओआईसी की स्थिति पर कहा कि पश्चिमी देश हमें तवज्जो नहीं देते। इसका कारण सिर्फ एक ही है कि मुस्लिम देश आपस में ही बंटे हुए हैं। इमरान खान ने कहा कि भले ही हम डेढ़ अरब मुसलमान हों, लेकिन हमारी आवाज काफी नहीं है। हम किसी देश पर हमले की बात नहीं कर रहे हैं, हम तो बस कश्मीर और फिलीस्तीनी लोगों के मानवाधिकारों के बारे में बात कर रहे हैं। 

बैठक में इमरान खान ने मुस्लिम देशों से एकजुटता की अपील की। उन्होंने कहा कि मेरा कहने का यह मतलब नहीं है कि मुस्लिम देश अपनी विदेश नीति में परिवर्तन कर दें, लेकिन जब तक हम एकजुट नहीं होंगे तब तक मुसलमानों का जो उत्पीड़न किया जा रहा है, वह नहीं थमेगा।

वहीं सऊदी अरब के विदेश मंत्री प्रिंस फैजल बिन फरहान ने भी इस दौरान कश्मीर के मामले पर कहा कि इसे शांति से सुलझाया जा सकता था। 

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